Stock Market Exchange


अर्थव्यवस्था में शेयर और स्टॉक मार्केट की भूमिका बेहद महत्वपूर्ण है. यह एक प्रकार से अर्थव्यवस्था का बैरोमीटर होता है. stock एक्सचेंज एक ऐसा प्लेटफार्म हैं जो निवेशक और कंपनी के लिए एक medium  की तरह काम करता हैं क्यूंकि जब किसी कंपनी को शेयर बाज़ार से पैसा लेना होता हैं तो कंपनी को स्टॉक एक्सचेंज पर लिस्ट होना पड़ता हैं उसके बाद ही निवेशक शेयर बाज़ार से शेयर्स को Buy /Sell कर सकते हैं।

Stock Exchange

Stock Market Exchange क्या होता हैं ?|What is Stock Market Exchange(Hindi)

स्टॉक मार्केट एक स्वचालित कम्प्यूटरीकृत स्क्रीन आधारित ट्रेडिंग प्लेटफॉर्म प्रदान करता है, कोई भी स्टॉक माकेट में निवेश करना चाहता है उसके लिए स्टॉक मार्केट एक्सचेंज एक ऐसा माध्यम है जिसके द्वारा निवेशक या व्यापारी एक स्वचालित प्रक्रिया के माध्यम से शेयर बेच या खरीद सकता है जिसमें ट्रेडिंग स्टॉक में पर्याप्त तरलता होने पर ऑर्डर देने और ऑर्डर लेने का Execution  होता है।

स्टॉक मार्केट एक्सचेंज एक मार्केटप्लेस है जहां ऑर्डर मैचिंग मैकेनिज्म के आधार पर खरीदार और विक्रेता के ऑर्डर स्टॉक एक्सचेंज प्लेटफॉर्म पर वित्तीय प्रतिभूतियों का कारोबार किया जाता है, जिसके द्वारा ऑर्डर को सर्वोत्तम संभव तरीके से निष्पादित किया जाता है। आज की दुनिया में ऑर्डर के इलेक्ट्रॉनिक मोड का उपयोग कम्प्यूटरीकृत के माध्यम से किया जाता है। प्लेटफॉर्म जो खरीदारों और विक्रेता को सर्वोत्तम संभव तरीके से जोड़ता है, यहां तक कि यह भी नहीं पता कि कौन बेच रहा है या कौन खरीद रहा है।स्टॉक एक्सचेंज पारदर्शिता में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है निवेशकों और शेयरधारकों के लिए एक कुशल तंत्र प्रदान करता है एक्सचेंज ट्रेडिंग को आसान और निवेशक को व्यापार संचालन के बारे में जानकारी, घोषणाओं और संबंधित समाचारों को बनाए रखता है, यह निवेशकों और शेयरधारकों को एक वैध जानकारी देता है। स्टॉक ब्रोकर भी एक बहुत ही महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं क्योंकि सभी ऑर्डर उनके माध्यम से Process होते हैं।

Function of Stock Exchange(hindi)

  • स्टॉक एक्सचेंज कैपिटल फार्मेशन में मदद करता हैं और इकॉनमी को आगे बढ़ने में भूमिका निभाता हैं ।
  • स्टॉक एक्सचेंज मार्किट में विश्वनीयता पैदा करता हैं क्यूंकि ये सेबी द्वारा रेगुलेटेड हैं
  • सिस्टम में ट्रंपेरेन्सी और लिक्विडिटी देता हैं लिक्विडिटी किसी भी ट्रेडर और इन्वेस्टर को एग्जिट करे का मौका देते हैं।
  • स्टॉक के भाव सभी के लिये एक जैसे होते हैं चाहे बड़ा इन्वेस्टर हो या रिटेल इन्वेस्टर
  • ट्रांसक्शन कॉस्ट काम होती हैं और ट्रांसक्शन सेफ्टी होती हैं क्यूंकि इसमें बैंकिंग के द्वारा पैसा ट्रांसफर होता हैं जो की ट्रांसक्शन में एक विस्वास पैदा करता हैं।
  • स्टॉक एक्सचेंज शेयर्स के अलावा कमोडिटी डेब्ट करेंसी आदि जैसे अलग अलग फाइनेंसियल सेगमेंट में ट्रेड और निवेश करने की सुविधा प्रदान करता हैं
  • स्टॉक एक्सचेंज लिस्टेड कंपनियों की जानकारी मुहैया करवाते हैं जिससे निवेशकों को उस कंपनी के बारे में जानकारी मिल जाती हैं

Types of Stock Exchange in India

भारत में दो प्रमुख स्टॉक एक्सचेंज हैं स्टॉक मार्किट में ट्रेडिंग और इन्वेस्टिंग की लिए स्टॉक एक्सचेंज SEBI (Securities and Exchange Board of India) द्वारा रेगुलेटेड होते हैं स्टॉक एक्सचेंजो तथा किसी भी अन्य प्रतिभूति बाजार के व्यवसाय का नियमन करना। स्टॉक ब्रोकर्स, सब-ब्रोकर्स, शेयर ट्रान्सफर एजेंट्स, मर्चेंट बैंकर्स, पोर्टफोलियो मैनेजर आदि के कार्यो का नियमन करना एवं उन्हें पंजीकृत करना।

BSE-Bombay Stock Exchange

BSE-बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज एशिया का सबसे पुराना एक्सचेंज हैं जिसकी स्थापना 1875 में हुई थी इसमें भी ट्रेडिंग Computerized तरीके से होती हैं स्टॉक एक्सचेंज सेबी रेगुलेट करता हैं सेंसेक्स BSE का Main  इंडेक्स हैं जिसमे की भारत की सबसे बड़ी 30 कंपनी होती हैं जो फ्री फ्लोट मार्किट Capitalisation की हिसाब होती हैं वो भी अलग अलग सेक्टर से मिलके और यह बदलती रहती है परफॉरमेंस की हिसाब से । इससे मार्किट का डारेक्शन पता चलता हैं की बाज़ार की दिशा किस तरफ हैं और एक महत्वपूर्ण बैरोमीटर हैं फाइनेंसियल कंडीशन बताने के लिये। अधिक जानकारी की लिए आप BSE की वेबसाइट check कर सकते हैं – bseindia.com

NSE-National Stock Exchange

NSE-नेशनल स्टॉक एक्सचेंज भारत का अग्रणी स्टॉक एक्सचेंज हैं इसकी स्थापना 1992 में हुई थी ट्रेडिंग का लेनदेन Computerised तरीके से होता हैं स्टॉक एक्सचेंज के लिए सेबी रेगुलेटर हैं निफ़्टी 50 इसका Main  Index  हैं जिसमे की भारत की सबसे बड़ी 50 कंपनी होती हैं जो फ्री फ्लोट मार्किट Capitalisation की हिसाब से वो भी अलग अलग सेक्टर से मिलके । इससे मार्किट का डारेक्शन पता चलता हैं और यह बदलती रहती है परफॉरमेंस की हिसाब से। इसके अलावा और भी अलग अलग इंडेक्स होते हैं सेक्टर वाइज जैसे की बैंक निफ़्टी, निफ़्टी मेटल आदि। अधिक जानकारी की लिए आप NSE की वेबसाइट चेक कर सकते हैं –nseindia.com

शेयर बाजार में निवेश की शुरूआत कैसे करें?|How to start Investing in Stock Market

आपको सबसे पहले किसी ब्रोकर की मदद से डीमैट अकाउंट खुलवाना होगा आजकल ऑनलाइन भी आप अपना डीमैट अकाउंट खुलवा सकते हैं. इसके बाद आपको डीमैट अकाउंट को अपने बैंक अकाउंट से लिंक करना होगा.बैंक अकाउंट से आप अपने डीमैट अकाउंट में फंड ट्रांसफर कीजिये और ब्रोकर की वेबसाइट से या App के माध्यम से लॉग इन कर या आर्डर देकर किसी कंपनी के शेयर खरीद सकते हैंइसके बाद वह शेयर आपके डीमैट अकाउंट में ट्रांसफर हो जायेंगे. आप जब चाहें उसे अपने ब्रोकर के माध्यम से बेच सकते हैं.स्टॉक मार्किट में इन्वेस्टमेंट करने से पहले आप अपनी रिसर्च जरूर कर लें और अपने फाइनेंसियल एडवाइजर की सलाह लें। ब्लॉग लेख केवल एजुकेशन और इनफार्मेशन Purpose  के लिए हैं

डीमैट अकाउंट के बारे में जानकारी

स्टॉक मार्किट क्या होता हैं जाने ?

Q-Stock Exchange Kaya Hota hain (Hindi)

Ans-स्टॉक मार्केट एक्सचेंज एक मार्केटप्लेस है जहां ऑर्डर मैचिंग मैकेनिज्म के आधार पर खरीदार और विक्रेता ऑर्डर प्रदान करके स्टॉक एक्सचेंज प्लेटफॉर्म पर वित्तीय प्रतिभूतियों का कारोबार किया जाता हैं

Q-Stock Exchange ke benefits

Ans- स्टॉक मार्केट एक्सचेंज एक ऐसा माध्यम है जिसके द्वारा निवेशक या व्यापारी एक स्वचालित प्रक्रिया के माध्यम से शेयर बेच या खरीद सकता है सिस्टम में ट्रंपेरेन्सी और लिक्विडिटी देता हैं स्टॉक के भाव सभी के लिये एक जैसे होते हैं चाहे बड़ा इन्वेस्टर हो या रिटेल इन्वेस्टर

Q-भारत में दो प्रमुख स्टॉक एक्सचेंज कौन से हैं ?

NSE-नेशनल स्टॉक एक्सचेंज
BSE- बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज

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